
आगि लागे बनवा, जरे परबतवा - स्वामी भिनक राम जी
आगि लागे बनवा, जरे परबतवा मोरे लेखे हो साजन जरे नइहरवा। आवऽ आवऽ बभना, बइठु मोरा अँगना साचि देहु ना मोरे गुरु के आवनवा। जिन...
आगि लागे बनवा, जरे परबतवा मोरे लेखे हो साजन जरे नइहरवा। आवऽ आवऽ बभना, बइठु मोरा अँगना साचि देहु ना मोरे गुरु के आवनवा। जिन...
केऊ ना जाई संग साथी बन्दे ! केऊ॥ जइसे सती हँसकर बन्दे, ऊ काया जल जाती दिन चार राम केऊ भजिले, बान्ह का ले जइबऽ गाँठी॥ भाई-भतीजा...